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सामाजिक न्याय ayushigupta

सामाजिक न्याय सर्व प्रथम स्वतंत्रता प्राप्ति के बाद हमारे सामने सबसे महत्वपूर्ण कार्य एक ऐसे संविधान की रचना करना था जिसके माध्यम से उन उददेश्यों को प्राप्त कर सके जिसके लिए हमने आजादी की लडाई लडी थी और लाखो लोगो की कुरबानी देकर स्वतंत्रता प्राप्त की थी । हमारा देश छोटी-छोटी रियासतो में बटंा हुआ था । स्वतंत्रता के बाद सभी राजा महाराज रियासत स्वतंत्र हो गई थी और उन्हें एकत्र करना महत्वपूर्ण उद्देश्य था। इसके लिए देश में एक संगठित कानून होना आवश्यक था । सर्व प्रथम संविधान निर्माण के लिए कैबिनेट-योजना के अंतर्गत नवम्बर 1946 को संविधान सभा के सदस्यों का चुनाव किया गया । कुल 296 सदस्यों में से 211 सदस्य कांग्रेस के चुने गये और 73 मुस्लिम लीग के तथा शेष स्थान खाली रहे । संविधान सभा के प्रमुख सदस्य में जवाहरलाल नेहरू, राजेन्द्र प्रसाद, सरकार पटेल, मौलाना आजाद, गोपाल स्वामी आयंगर, गोविन्द बल्लभ पन्त, अब्दुल गफफार खां, टी.टी.कृष्णामाचारी, अल्लादी कृष्णास्वामी अययर, हृदयनाथ कंुजरू, सर एच.एस. गौड़, के.टी.शाह, मसानी, आचार्य कृपालानी, डाॅ. अम्बेडकर आदि थे । संविधान बनाने के लिए जब संविधान सभा...